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कॉन्वेंशनल साइन (Conventional Signs / रूढ़ि चिन्ह)- मानचित्र में स्थान, वस्तुओं और संरचनाओं को सरलता से दर्शाने के लिए कुछ निश्चित प्रतीकात्मक चिन्ह (symbols) का प्रयोग किया जाता है, जिन्हें रूढ़ि चिन्ह (Conventional Signs) कहा जाता है। ये चिन्ह अंतरराष्ट्रीय स्तर पर स्वीकृत और समझने में आसान होते हैं।

रुढि चिन्ह 2 प्रकार के होते है

1- सर्वे ऑफ इंडिया के साइन।

2- मिलिट्री साइन।

साइन ( रुढि चिन्ह) बनाने के 03 तरीके होते है

1- सकल बनाकर।

2- लिख कर।

3- रंग भरकर।

रूढ़ि चिन्हों का महत्व- 

1- मानचित्र को संक्षिप्त और स्पष्ट बनाते हैं।

2- किसी भी भाषा के बिना समझे जा सकते हैं।

3- मानचित्र पढ़ने में आसानी होती है।

4- अंतरराष्ट्रीय स्तर पर एकरूपता लाते हैं।

मुख्य रूढ़ि चिन्हों के उदाहरण (भारत में प्रचलित मानचित्र चिन्ह):

वस्तु / विशेषता रूढ़ि चिन्ह (प्रतीक)

सड़क (पक्की) ─────

सड़क (कच्ची) - - - -

रेलवे लाइन =====

नदी / नाला ~~~~~

कुआँ ○

मंदिर ⛩ या ⊕

मस्जिद ☪

चर्च ✝

स्कूल ⬛ S या 🏫

अस्पताल ⬛ H या ⊕

डाकघर ⬛ P या 📮

पुल दो रेखाओं के बीच पट्टी

जंगल 🌲🌲🌲 या हरे रंग से क्षेत्र

रेल जंक्शन ⚫+

हवाई अड्डा ✈

भवन / घर ⬛ (काला वर्ग)

राष्ट्रीय राजमार्ग दोहरी रेखा (==)

सीमाएँ (राज्य / जिला) बिंदीदार रेखा